Breaking News
कर्ज में डूबी अपनी सरकारी एयरलाइन को बेचेगा पाकिस्तान, अगले हफ्ते शुरू होगी बिक्री प्रक्रिया 
चारधाम यात्रा के लिए खोले जाएंगे ऑफलाइन पंजीकरण काउंटर 
सीएम धामी ने विदेशी घुसपैठियों के खिलाफ तत्काल कठोर कार्यवाही के दिए निर्देश
साउथ सुपरस्टार सूर्या की आगामी फिल्म ‘रेट्रो’ सेंसर बोर्ड से यूए सर्टिफिकेट के साथ हुई पास 
प्रधानमंत्री मोदी की अध्यक्षता में यमुना नदी की सफाई और पुनरुद्धार के लिए हुई उच्च स्तरीय बैठक
मुख्यमंत्री धामी से 35वें राष्ट्रीय खेल कूद टेबल टेनिस प्रतियोगिता में जीतने वाले छात्रों की टीम ने की भेंट 
26 अप्रैल को उत्तराखंड दौरे पर रहेंगे केंद्रीय सहकारिता मंत्री अमित शाह
मुख्य सचिव ने की हरिद्वार कुंभ की तैयारियों की समीक्षादेहरादून। मुख्य सचिव आनन्द बर्द्धन की अध्यक्षता में सचिवालय में कुंभ 2027 की तैयारियों के सम्बन्ध में बैठक आयोजित हुई। मुख्य सचिव ने अधिकारियों को कुंभ 2027 की तैयारियों के लिए सभी सम्बन्धित विभागों योजना एवं प्रस्ताव तैयार किए जाने के निर्देश दिए। उन्होंने जिलाधिकारी हरिद्वार को सम्बन्धित विभागों के साथ शीघ्र बैठक आयोजित किए जाने की के निर्देश दिए। एक सप्ताह में पद सृजन और नोडल अधिकारी करें नामितः मुख्य सचिव मुख्य सचिव ने निर्देश दिए कि अगले 7 दिनों में सभी कार्यदायी विभागों के नोडल अधिकारी नामित कर लिए जाएं। साथ ही, पदों के सृजन की कार्यवाही भी पूर्ण कर ली जाए। इनसे सम्बन्धित आदेश अगले 7 दिनों में कर लिए जाएं। उन्होंने कहा कि जिन समितियों/ उप समितियों का गठन किया जाना है, अगले 7 दिनों में कर लिया जाए। उन्होंने 30 अप्रैल तक प्रस्ताव एवं आंकलन तैयार कर भारत सरकार को भेजे जाने के भी निर्देश दिए। मुख्य पर्वों के लिए क्राउड मैनेजमेंट और ट्रैफिक मैनेजमेंट प्लान किया जाए तैयार मुख्य सचिव ने कुंभ 2027 के अंतर्गत शाही स्नान वाले विशेष दिवसों पर श्रद्धालुओं की अधिकतम संख्या का आंकलन करते हुए कार्य योजना तैयार किए जाने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि आने वाले समय में कनेक्टिविटी बढ़ने श्रद्धालुओं के बढ़ने की अत्यधिक सम्भावना है। उन्होंने इसके अनुरूप श्रद्धालुओं संख्या का आंकलन करते हुए पार्किंग एवं ट्रैफिक मूवमेंट योजना तैयार किए जाने के निर्देश दिए। उन्होंने इसके लिए विशेषज्ञों द्वारा आंकलन कराए जाने के उपरांत योजनाएं तैयार कराए जाने के निर्देश दिए। उन्होंने नए पार्किंग स्थल चिन्हित किए जाने के साथ ही पुराने पार्किंक स्थलों की क्षमता बढ़ाए जाने के भी निर्देश दिए। हरिद्वार क्षेत्र में ऑडिटोरियम और सांस्कृतिक केंद्र बनाए जाने के निर्देश मुख्य सचिव ने कहा कि हरिद्वार कुंभ मेला, कांवड़ यात्रा एवं अन्य धार्मिक आयोजनों के लिए अत्यधिक महत्त्वपूर्ण क्षेत्र है, इसके लिए मूलभूत ढांचों को मजबूत किए जाने की आवश्यकता है। उन्होंने कहा कि दीर्घकालीन योजना के अंतर्गत स्थाई प्रकृति के कार्यों को ध्यान में रखा जाए। उन्होंने हरिद्वार क्षेत्र में ऑडिटोरियम और सांस्कृतिक केंद्र बनाए जाने के भी निर्देश दिए। उन्होंने अधिकारियों को कुंभ क्षेत्र सहित अन्य उपयोगी स्थानों का स्थलीय निरीक्षण कर कार्य योजनाएं तैयार किए जाने के निर्देश दिए। मुख्य सचिव ने कुंभ 2027 के लिए अनिवार्य कार्यों की सूची तैयार किए जाने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा ऐसे कार्य जिन्हें अनिवार्य रूप से कराया जाना है, उनकी तैयारी पूर्व से ही कर ली जाए। साथ ही, तत्काल शुरू किए जाने वाले कार्यों की सूची भी तैयार कर इनकी डीपीआर एवं आंकलन सहित अन्य तैयारियां पूर्व में ही सुनिश्चित कर ली जाएं, ताकि स्वीकृति मिलते ही कार्य शुरू कराए जा सकें। इस अवसर पर प्रमुख सचिव आर. के. सुधांशु, आर. मीनाक्षी सुंदरम, सचिव नीतेश झा, राधिका झा, डॉ. पंकज कुमार पाण्डेय, विनय शंकर पाण्डेय, आर. राजेश कुमार, जिलाधिकारी हरिद्वार कर्मेंद्र सिंह, जिलाधिकारी पौड़ी आशीष चौहान, जिलाधिकारी टिहरी सहित सम्बन्धित विभागों के वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।
उच्च शिक्षा को गुणवत्तापरक, रोजगारोन्मुख और नवाचार आधारित बनाया जाए- मुख्यमंत्री धामी

शादी से पहले इन 5 सवालों पर चर्चा करके बनाए अपना मजबूत और खुशहाल वैवाहिक जीवन

शादी जीवन का एक महत्वपूर्ण फैसला होता है और इसे मजबूत और खुशहाल बनाने के लिए आपसी समझ बहुत जरूरी होती है। शादी केवल प्रेम और आकर्षण का नाम नहीं है, बल्कि यह विश्वास, सम्मान और आपसी समझ से जुड़ा एक खूबसूरत रिश्ता होता है। शादी से पहले कुछ जरूरी सवाल पूछकर आप अपने रिश्ते को बेहतर तरीके से समझ सकते हैं और आगे की जिंदगी को सुगम बना सकते हैं। शादी से पहले 5 सवालों पर चर्चा करके आप एक मजबूत और खुशहाल वैवाहिक जीवन की नींव रख सकते हैं। आइए जानते हैं वे 5 अहम सवाल, जो हर मंगेतर को शादी से पहले एक-दूसरे से जरूर पूछने चाहिए।

प्राथमिकताएं क्या हैं?
शादी के बाद पति-पत्नी की प्राथमिकताएं मेल खाती हैं या नहीं, यह जानना बहुत जरूरी है।
करियर, परिवार और व्यक्तिगत सपनों को लेकर उनका क्या नजरिया है?
क्या वे पारिवारिक जीवन को अधिक महत्व देते हैं या करियर को?
भविष्य में वे कहां बसना चाहते हैं?
इससे आपको एक-दूसरे की सोच और भविष्य की योजनाओं को लेकर स्पष्टता मिलेगी।

वित्तीय स्थिति और बचत ?
पैसे और खर्चों को लेकर पति-पत्नी के बीच खुली बातचीत होनी चाहिए।
उनकी आय, बचत और खर्च करने की आदतें क्या हैं?
क्या वे फाइनेंशियल प्लानिंग और निवेश में विश्वास रखते हैं?
शादी के बाद खर्चों को कैसे मैनेज किया जाएगा?

इससे वित्तीय मामलों में टकराव की संभावना कम होगी और आप बेहतर आर्थिक योजना बना सकेंगे।

परिवार और परम्पराओं को लेकर सोच
हर इंसान अपने परिवार और परंपराओं से जुड़ा होता है, इसलिए शादी के बाद दोनों के परिवारों के बीच संतुलन जरूरी है।
वे संयुक्त परिवार में रहना पसंद करते हैं या एकल परिवार में?
त्यौहार और पारिवारिक रीति-रिवाजों को लेकर उनकी क्या सोच है?
माता-पिता और रिश्तेदारों के प्रति उनका रवैया कैसा है?

इससे शादी के बाद दोनों परिवारों के बीच सामंजस्य बैठाने में मदद मिलेगी।

बच्चों और परवरिश को लेकर क्या सोचते हैं?

बच्चे शादीशुदा जिंदगी का एक अहम हिस्सा होते हैं, इसलिए पहले से इस विषय पर चर्चा करना जरूरी है।
वे कितने बच्चों की योजना बनाते हैं?
बच्चों की परवरिश को लेकर उनका क्या नजरिया है?
माता-पिता की जिम्मेदारियों को लेकर वे क्या सोचते हैं?

इससे शादी के बाद होने वाली गलतफहमियों से बचा जा सकता है और दोनों एक साझा निर्णय पर आ सकते हैं।

कठिन परिस्थितियों में कैसे प्रतिक्रिया देंगे?

जीवन में उतार-चढ़ाव आते रहते हैं, लेकिन ऐसे समय में साथी का रवैया बहुत मायने रखता है।
वे तनाव और मुश्किल समय में कैसा व्यवहार करते हैं?
क्या वे समस्या का हल शांति से निकालते हैं या गुस्से में जल्दबाजी करते हैं?
रिश्ते में किसी अनबन को कैसे सुलझाना पसंद करेंगे?
इससे शादी के बाद आने वाले कठिन समय में एक-दूसरे को बेहतर तरीके से समझने और समर्थन देने में मदद मिलेगी।

(साभार)

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back To Top